मॉडल पेपर हिंदी कक्षा 10 mp board 2023
हेलो दोस्तों में अनिल कुमार पलाशिया आपके लिए कक्षा 10 के मोस्ट महत्वपूर्ण प्रश्न उत्तर लेकर
आया हु जिससे के आपको परीक्षा में कोई परेशानी नहीं होगी और आप आसानी से अपने प्रश्न उत्तर
लिख पाएंगे में आपके लिए महत्वपूर्ण प्रश्न उत्तर बहुत ही सरल भाषा में लेकर आ रहा हु आप इसे
पड़े इसमें आपको सभी प्रश्नों के उत्तर मिल जायेंगे .
NOTE ;- हिंदी कक्षा 10 वी MP BOARD वर्ष 2023 - 24 में आपको हिंदी विषय की सम्पूर्ण जानकारी जो आपको परीक्षा के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है आप रोज इसमें से प्रश्न उत्तर याद कर सकते है .
क्षितिज - भाग 2 काव्य खंड
Q .1 गोपियों दुवारा उदाव को भाग्यवान कहने मे क्या व्यंग निहित है .?
Ans ;- उद्धव भगवान् श्री कृष्ण के साथ रहते हुए भी उनसे प्रेम नहीं कर पाए इसलिए गोपिया ने उन्हें भाग्यहीन कहा है .[ MOST ]
Q . 2 गोपियों ने किन - किन उदाहरण के माध्यम से उद्दव को उल्हाने दिए है ?
Ans - गोपियों ने कलम के पत्तो , तेल की गागर , कडवी ककड़ी आदि का उदाहरण देकर उलहना
दी है . [ MOST ]
Q . 3 गोपियों के अनुसार राजा का धर्म क्या होना चाहिए ?
Ans ;- गोपियों के अनुसार राजा का धर्म प्रजा के हित का पूरा ध्यान रखना होना चाहिए . प्रजा को
किसी भी प्रकार का कष्ट नहीं देना चाहिए . [ MOST ]
अथवा ;-गोपियों ने उद्वव से योग की शिक्षा कैसे लोगो को देने की बात कही है
ANS ;- गोपिया उद्दव से कहती है के योग सिखने की जरुरत हमें नहीं है आप योग उसे सिखाओ जिसका मन चंचल रहता है जो हर काम में भटकता रहता है कही एक जगह पर उसका मन नहीं ठहरता है हमारा मन तो श्री कृष्ण के प्रेम में लगा हुआ है हमारा मन कही नहीं भटकता है .
अथवा ;- कृष्ण के प्रति अपने अनन्य प्रेम की गोपियों ने किस प्रकार अभिव्यक्त किया गया .
ANS ;- गोपियों ने श्री कृष्ण के प्रति अपने प्रेम को अभिव्यक्त किया है उन्होंने कहा है की हमारा प्रेम श्री कृष्ण के प्रति उस चीटी के समान है जो हमेशा गुड से लिपट रहती है .
पाठ - 2 राम लक्ष्मण- पशुराम संवाद
Q . 4 परशुराम के क्रोध करने पर लक्ष्मण ने धनुष टूट जाने के लिए कोन - कोन से तर्क दिए ?
Ans ;- लक्षमण ने परशुराम जी को तर्क दिए
राम का धनुष टूटने में कोई दोष नहीं है उन्होंने हाथ लगाया और वह टूट गया ..
राम ने इसे नया समझ था लेकिन वह पुराना निकला और टूट गया .
लक्षमण ने कहा हमने बचपन मे कितने तीर तोड़े फिर भी हमें कोई नहीं कहता अब आप
क्यों बल रहे हो .
Q . 5 लक्षमण ने वीर योद्दा की क्या -क्या विशेषता बताइए ?
Ans ;- निम्न विशेषता है
वीर कभी अपनी वीरता का वर्णन नहीं करना चाहिए .
वीर योद्दा युद्ध स्थल में अपनी वीरता का प्रमाण देते है .
वीर योद्दा विनम्र , धैर्य वान तथा गंभीर होते है
वीर कभी अपने ऊपर अभिमान नहीं करते है .
अथवा ;- स्मृति को पाथेय बनाने से कवी का क्या आशय है .
कवी प्रसाद जी के जीवन में कुछ एसी घटनाएं घटित हुई है जो आज भी उन्हें प्रेरणा देती रहती है और वे स्म्रतिया उनकी खुद की है वे उन्हें उजागर करना नहीं चाहते है वे अपने अतीत की सभी बात को लिख - लिख कर याद करते है .
अथवा ;- कवी ने जो सुखद स्वपन देखे है उसे कविता में किस रूप में अभिव्यक्त किया है
ANS ;- कवी प्रसाद जी ने जो सुखद स्वप्न देखे थे वे उन्हें प्राप्त नहीं हो सके थे . जिस कारण उनके सपने अधूरे रह गए . लेकिन फिर भी वे स्वप्न उनके हदय में समाये जाते है . कवी उन्हें भूल नहीं पा रहे थे कवी ने अपने स्वप्न को अपनी कविता में प्रस्तुत किया गया .
पाठ ;- 3 उत्साह / अट नहीं रही है
उत्साह
अथवा ;- कवी निराला बादल से फुहार , रिमझिम या बरसने के स्थान पर गरजने के लिए क्या कहता है .
ANS ;- कवी निराला जी ने बादल को रिमझिम बरसने से मना कर दिया और वे कहने लगे के बरसने से ज्यादा गरजने में फायदा है क्योकि आज के समय में गरजने बाले व्यक्ति की ही पहचान होती है और जो चुप रहता है वह अकेला रह जाता है बादलो की गजरन से सारा समाज जागरूक होता है .
अथवा ;- कविता का शीर्षक उत्साह क्यों रखा गया
ANS ;- सूर्य कान्त त्रिपाठी निराला ji को बादल बहुत पसन्द है कवी बादल को नवचारा का प्रतिक माना गया है इस लिए कवी ने कविता का शीर्षक उत्साह रहा है .
अट नहीं रही है
अथवा ;- कवी की आँख फागुन की सुन्धरता से क्यों नहीं हट रही है
ANS ;- फागुन मॉस में प्रकृति की सोंधर्य अपने चरम पर रहती है चारो और हरियाली दिखाई देती है और रंग बिरंगे फुल दिखाई देती है प्रकृति इतनी सुन्दर दिखाई देती है की कवी की आँखे फटी की फटी दिखाई देती है .
अथवा ;- होली के बाद प्रक्रति में जो परिवर्तन दिखाई देता है उन्हें लिखिए .
ANS ;- होली का त्यौहार रंग भरा होता है और इस समय प्रकृति अपने योवन पर रहती है और इसके प्रभाव स्वरूप समाज में भी उल्लास , हर्ष के भाव भर जाते है इस समय चारो और हरियाली दिखाई देती है यहाँ पर चारो और हरी भरी प्रकृति दिखाई देती है .
Q . 6 साहस और शक्ति के साथ विनम्रता हो तो बेहतर है विचार करो ?
ANS - एक वीर पुरुष में साहस और शक्ति होना चाहिए और अगर विनम्रता इसके साथ हो तो
सोने पे सुहागा है इस में अगर व्यक्ति के साथ विनम्रता , धैर्य , सयम , तथा गंभीरता का परिचय
देता है अगर आप विनम्र है तो आप हर काम को सरलता से कर सक्ते है .
Q . 7 अवधि भाषा वर्तमान में कहा - कहा बोली जाती है ?
Ans - अबधि भाषा आज भी उत्तर प्रदेश के पूर्वी जिलो में बोली जाती है यह भाषा अयोध्या , उन्नाव
, लखनऊ , रायबरेली , जैसे सभी क्षेत्रो में बोली जाती है
Q . 8 कवि आत्मकथा लिखने से क्यों बचना चाहते है ?
Ans ;- कवि जयशकर प्रसाद के मित्रो ने उनसे आत्मकथा लिखने को कहा परन्तु वे राजी नहीं हुए
उनका मानना था के उनका जीवन बहुत ही संघर्ष से गुजरा है और उन्होंने कोई ऐसा महान काम भी
नहीं किया जिससे के उनके बारे में कुछ लिखा जाये . इस लिए वे मन कर रहे थे .
Q - 9 स्मृति को पाथेय बनाने से कवि का क्या आशय है . ?
Ans - कवी प्रसाद जी के दुःख भरे जीवन में कुच्छ स्म्रतिया ऐसी रही जो उन्हें प्रेरणा , उर्जा , तथा जीवन्तता
प्रदान करती है ये सारी स्म्रतिय उन्हें बहुत मोटिवेट करती है
Q . 10 आप किन व्यक्तियों की आत्मकथा पढना चाहेंगे . ?
Ans - हम उन व्यक्तियों की आत्मकथा पढना चाहेंगे जिन्होंने उपनी साधना से अपनी एक विशेष पहचान बनाई है और इसके साथ में उन्होंने देश के लिए सराहनीय कार्य किये है यह आवश्यक नहीं है की वे उन्होंने बड़े ही कार्य किये हो समाज के लिए जो कार्य किये जिससे समाज में कुछ सुधार आया हो उनकी जीवनी हम पड़ना चाहेंगे .
Q . 11 कवि बादल से फुहार , रिमझिम या बरसने के स्थान पर गरजने के लिए कहता है क्यों ?
Ans - कवि निराला जी का कहना है की बादल फुबारे , रिमझिम बरसने के स्थान पर अगर गरजते है
तो उससे क्रांति का उद्भव होता है सामाजिक क्रांति लाने के लिए आवश्यक यह है की विनम्रता क्रांति
के लिए संभव नहीं है उसके लिए गर्जन भी होना चाहिए .
Q . 12 कविता का शीर्षक ‘’ उत्साह ‘’ क्यों रखा गया ?
Ans - सूर्यकान्त त्रिपाठी निराला जी को बादल बहुत पसंद है बादल क्रांति का प्रतिक है यह क्रांति
या चेतना बिना उत्साह के संभव नहीं है इसलिए कवि ने कविता का शीर्षक उत्साह रखा .
Q . 13 कविता में बादल किन - किन अर्थो की और संकेत दे रहे है .
Ans - उत्साह कविता में बादल का मुख्य सन्देश यह है की -
जब बरसात होती है तो धरती का ताप कम हो जाता है .
बरसात के कारन बैचेन मन में एक शांति आ जाती है
जब पानी गिरता है तबी किसान अपनी खेती करना प्रारंभ करते है .
बादल क्रांति के प्रति है
Q . 14 कवि की आँख फाल्गुन की सुन्दरता से क्यों नहीं हट रही है ?
Ans - फाल्गुन माह में प्रकृति की सुन्दरता अपने चरम पर रहती है पेड - पोधे से पत्तियाँ भरी होती है
और चारो और हरी हरी पत्तिया दिखाई देती है कवि की आँख इस द्रश्य को देख कर चकित रह जाती है .
Q . 15 होली के आस पास प्रकृति में जो परिवर्तन दिखाई देते है उन्हें लिखिए ?
Ans - होली का पर्व एक रस बाला पर्व होता है इस समय प्रकृति अपने युवा अवस्था में होती है
इसके कारण समाज में उर्जा , उत्तेजना के भाव दिखाई देता है इस समय सब दूर हरियाली दिखाई देती है .
Q . 16 कवि ने कठिन यथार्थ के पूजन की बात क्यों कही गई है ?
Ans ;- कवि गिरजा कुमार माथुर मत है की वर्तमान का जो स्वरूप है उसको ही साकार करने
में लग्न चाहिए . वर्तमान दुःख से घवराकर पुरानी सुख की यादो के झमेले में नहीं पढना चाहिए . इसलिए
वर्तमान को महत्त्व देना चाहिए .
Q . 17 म्रगत्रष्णा किसे कहते है ?
Ans - रेगिस्तान की चिलचिलाती धुप में प्यास हिरण सूर्य की किरने से चमकते रेत को पानी समझ
कर वहा पहुचता है किन्तु वहा पर पानी नहीं होता यह पानी का भ्रम मात्र है इसे ही म्रगतृष्णा कहलाती है .
Q . 18 बीती ताहि बिसार दे आगे की सुध ले ‘’ यह भाव कविता की किस पंक्ति में झलकता है ?
Ans ;- इसका अभिप्राय यह है की पीछे की बात को भूल जाओ पिछली बात को याद करके आज का समय हमें बर्बाद नहीं करना चाहिए . हमें आज देख कर आगे बढना चाहिए .
Q . 19 आपके विचार से माँ ने ऐसा क्यों कहा कि लड़की होना पर लड़की जैसी मत दिखाई देना ?
Ans ;- पुरुष प्रधान समाज में लडकियों के लिए ऐसे आचरण बना दिए की लड़की इन्ही में फास कर रह गई है लड़की की भावुकता , सुन्दरता , कोमलता , को उसकी निर्वालता को माना जाता है इस कारण माँ ने बेटी को साबधान किया की लड़की है पर उसकी कोमलता को अपने अन्दर मत रखना .
Q . 20 माँ को अपनी बेटी ‘ अंतिम पूंजी ‘’ क्यों लग रही थी ?
Ans ;- बेटी माँ की सर्वाधिक निकट होती है वह ही उसके सुख दुःख की साथी होती है माँ के दुःख में बेटी ही सहारा बनती है यही कारण है की माँ को अपनी बेटी अंतिम पूंजी लग रही थी .
Q . 21 माँ ने अपनी बेटी को क्या सिख दी ?
Ans - माँ ने अपनी बेटी को दुनिया दारी की सिख दी .
माँ ने कहा की कभी भी अपनी सुन्दरता को अपनी कमजोरी नहीं बनाना चाहिए .
आग रोटिय सकने के लिए है खुद को जलने के लिए नहीं .
वस्त्र और आभुष्ण स्त्री की कमजोरी है इसे अपनी कमजोरी नहीं बनने देना चाहिए .
अपने कर्तव्यों का पालन करते रहना चाहिए .
Q . 22 आपकी द्रष्टि में कन्या के साथ दान की बात कहा तक उचित है ?
Ans - जब लड़की का विवाह हो जाता है तब लड़की को सुसराल भेज दिया जाता है इसके बाद भी
उनका सम्बन्ध अपनी बेटी के साथ ही रहता है दान की गई वस्तु का सम्बन्ध दान के बाद नहीं होती है
यह कथन उचित नहीं है .
Q . 23 सेनानी न होते हुए भी चश्मे वाले को भी लोग कैप्टन क्यों कहते थे ?
Ans - देश प्रेम के भाव से भरे कैप्टन के मन में देश पर बलिदान होने वालो के प्रति सम्मान का भाव है
सुभाष चंद्र भोष के प्रति उसमे श्रदा है इसलिए वह उनकी प्रतिमा पर चश्मा लगाता है उसके मन में
देश के प्रति फोजियो जैसा ही भाव है इसलिए उसे लोग कैप्टन कहते थे .
Q . 24 वो लंगड़ा क्या जायेगा फोज में . पागल है पागल . से क्या आशय ?
Ans - यह टिपण्णी अशिक्षित पान बाले की है मेरी राय में यह टिप्पणी पूर्णतया ; अनुचित है लंगड़ा
होते हुए भी वह अपनी छोटी दूकान से मूर्ति पर चश्मा लगता है वह निश्चय ही सम्मान के हकदार है .
Q . 25 भगत की पुत्रवधु उन्हें अकेले क्यों नही छोड़ना चाहती थी ? .
Ans ;- भगत की पुत्र वधु उन्हें अकेले छोड़कर इसलिए नहीं जाना चाहती थी क्योकि भगत की
देखभाल करने बाला कोई नहीं था उनके खाने - पीने का प्रबंध करने वाला भी कोई नहीं था .
वह उनके खाने आदि की व्यवस्था करने एवं उनके साथ उनकी देखभाल के लिए रहना चाहती थी
Q . 26 भगत ने अपने बेटे की म्रत्यु पर अपनी भावनाए किस तरह व्यक्त की ?
Ans - बालगोबिंद भगत ने अप्नेबेते के शव को सफ़ेद कपडे से ढक दिया उस पर फुल तथा तुलसी दल बिखेर दिए . स्वंय उसके पास आसन जमाकर गाने बैठ गया . वे कबीर के गाना गाने लगे . म्रत्यु के बाद हमारी आत्मा परमात्मा से मिल जाती है इस लिए हमें उत्सव मनाना चाहिए . रोने का नहीं .
Q . 27 भगत के व्यक्तित्व और उनकी वेशभूषा का अपने शब्दों में चित्र प्रस्तुत करो ?
Ans ;- बालगोविन्द भगत साठ वर्ष से अधिक आयु के थे किन्तु गोर चिठे आदमी थे उनके बाल सफ़ेद
हो गए थे वे शारीर पर कबीरपंथी कनपटी टोपी पहनते थे . उनके गले में तुलसी की बेजोड़ माला रहती है
जब सर्दी होती है तो वो कम्बल ओड लेते है
Q . 28 गाँव का सामाजिक - संस्कृतिक परिवेश आषाढ चदते ही उल्लास से क्यों भर जाता है ?
Ans ;- आषाढ़ का आना तथा तपती गर्मी के बाद रिमझिम तथा ग्रामीण समाज में चेतना तथा उल्लास
भर देता है किसान हल - बैल लेकर खेतो को निकल पढ़ते है धरती से फूटने वाली सुन्द उनके मन में
आनन्द की लहर पैदा कर देती है आषाढ़ आया badal गरजे , वर्षा हुई और खेत , तलब नदी भर गई
. जल से जीवन - लहलहा उठता है .
Q . 29 फादर की उपस्तिथि देवदार की छाया जैसी क्यों लगती है ?
Ans ;- देवदार का पेढ़ बहुत उचा , छाया दार और घना होता है उसकी छाया शांति तथा शीतलता प्रदान
करता है फादर कामिल बुल्के को भी उसी तरह शान्ति , शीतलता तथा आनंद मिलता था उनमे चिंता , दुःख , परेशानी को दूर करने की सामर्थता थी .इसलिए फादर की उपस्तिथि देवदार की छाया जैसी लगती थी .
Q . 30 फादर बुल्के भारतीय संस्कृति के एक अभिनय अंग है समझिए
Ans ;- सन्यासी बनने का विचार आते ही उन्होंने bharat आने का निश्चय किया वे अपनी जन्म भूमि छोड़कर bharat के ही होकर रह गए . उन्हेनी भारतीय संस्कृतिक , भाषा , व्यवहार आदि को आत्मसात कर लिया . वे सहज भाव से कह्ते थे , भारत मेरा देश है उन्होंने यहाँ की परम्परा को अपनाया और उनमे सुधार भी किया .
Q . 31 . लेखक ने फादर बुल्के को ;; मानवीय करूणा की दिव्य चमक ;; क्यों कहा है
Ans ;- लेखक ने फादर बुल्के को ,, मानवीय करुणा ,, की दीव्य चमक ,, इसलिए कहा है क्योकि उनके मन में मानव मात्र के प्रति करुणा का भाव भरा था अपने परिचितों के सुख - दुःख में हर समय उपस्तिथ होते थे .अपनी बातो से वे लोगो के मन में एक अलग पहचान बनाते है वे सभी रिस्तो का निर्वाह अपने हदय से करते है
Q . 32 आपके विचार से बुल्के ने भारत आने का मन क्यों बनाया होगा ?
Ans ;- मुझे लगता है की उन्होंने संसार के सभी देशो की संस्कृति , समाज , भाषा , आदि को देखा व जाना होगा . उनमे उन्हें भारत अच्छा लगा होगा . साड़ी दुनिया को अपना परिवार मानने वाला दश भारत ही है इसी कारण उन्हें यहाँ आने का मन बना .
Q . 33 . लेखिका के व्यक्तित्त्व पर किन - किन व्यक्तियों का किस रूप में प्रभाव पढ़ा ?
Ans ;- लेखिका को दो व्यक्तियों ने बहुत ही प्रभावित किया . एक उनके पिता ने दुसरे शिक्षक शिला अग्रवाल दोनों ने बहुत अच्छी छाप छोड़ी . पिता गोर रंग को महत्त्व देती है और अध्यापक शब्द को महत्त्व देती है उनके पिता हमेशा उनकी बड़ी बहन जो गोरी थी उससे निचा दिखाते थे शिला अग्रवाल ने साहित्य में रूचि पैदा की और खुलकर अपनी बात कहने का साहस पैदा किया .
Q . 34 .वह कोन सी घटना है जिसके बारे में सुनकर लेखिका को न अपनी आँखों पर विशवास हो पाया और ना अपने कानो पर ?
Ans ;- एक बार लेखिका के कालेज से प्रिंसिपल ने एक पात्र लिखा और उनसे पूछा के आपकी बेटी की अनुशासन हीनता के लिए उसको सजा क्यों नहीं देना चाहिए जब पिताजी को पात्र मिला तो बड़े क्रोदित होकर कालेज गए प्रिंसिपल ने कहा के आपकी लड़की ने भड़काने पर लडकिया कालेज से बाहर आ जाती है और नारे लगाने लगती है पिताजी ने कहा के यह देश की जरुरत है इसे रोका नहीं जा सकता है उनको इस बात पर गर्व है की मेरी लड़की की बातो का प्रभाव साड़ी लडकियों पर है पिताजी का यह स्वरूप देख के वह आश्चर्यचकित हो गई .
Q . 35 . मनुष्य के जीवन में आस - पड़ोस का बहुत महत्त्व होता है . परन्तु महानगरो में रहने वाले लोग प्राय ; ‘’ पड़ोस कल्चर से वंचित रह जाते है इस बारे में विचार करे .
Ans ;- मनुष्य के जीवन में पड़ोस का बहुत महत्त्व होता है बच्चे अपने पड़ोस में रहता है सभी पड़ोस के बच्चो के साथ खेलता बैठता , पड़ता है मस्ती करता है मेल मिलाप करना सीखता है लेकिन आज महानगरो के कारन बच्चे अपने घरो में ही रहते है इससे बच्चो में अपना पन व्यवहार ,आचरण सब ख़त्म होता जा रहा है ‘’मेरे विचार से एकांकी समाज बच्चो के आचरण के लिए अच्चा नहीं है .
Q . 36 कुछ पुरातान्ति पंथी लोग स्त्रियों की शिक्षा के विरोधी the दूवेदी जी ने क्या तर्क देकर उसका विरोद किया ?
ANS ;- कुछ लोग आज भी स्त्री की शिक्षा के लिए अनेक प[रकार के तर्क देते है दूवेदी जी ने इसका विरोध करते हुए अनेक उत्तर दिए और स्त्रियों की शिक्षा का समर्थन किया उन्होंने पुराने समय की स्त्रिओ की पढ़ाई के बारे में बात करते हुए उनके योगदान के बारे में बता है अत हमें जरुरत है की स्त्रियों की शिक्षा पर जोर दे और उन्हें आगे पढाए .
Q . 37 . स्त्रियों को पढ़ाने से अनर्थ होते है ? इसका खंडन दूवेदी जी ने कैसे किया ?
Ans ;- स्त्रियों की शिक्षा का समर्थन करते हुए दूवेदी जी ने कहा है की जब तुष्यन्त कुमार ने शकुंतला से विवाह करके उसे छोड़ दिया था तो वह उससे कटु भाषा में उससे बात करती है सीता ने भी बगेर कुछ कहे ही राम के दुवारा त्यागे जाने पर सीता ने राम को राम कहकर ही संबोधित किया .शिक्षा स्त्रियों के लिए आवश्यक है .
Q . 38 तब की शिक्षा प्रणाली और अब की शिक्षा प्रणाली में क्या अंतर है . स्पस्ट करो ?
Ans ;- पुराने समय की शिक्षा प्रणाली और आज की शिक्षा प्रणाली अलग - अलग है प्राचीन समय में गुरुकुल में शिक्षा दी जाती थी उस समय स्त्रियों की शिक्षा की कोई व्यवस्था नहीं थी आज के समय में लड़के लडकिय स्कूल कालेज में पढने जाते है अब दोनों की व्यवस्ता यह है की आज स्त्री और पुरुष दोनों को समान रूप से शिक्षा दी जाती है तो हम उनमे भेद क्यों करे .
Q . 37 महावीर प्रसाद दूवेदी का निबंध उनकी दूरगामी और खुलुई सोच का परिचायक है स्पस्ट करो ?
Ans ;- महावीर प्रसाद ने अपने लेख में जिस प्रकार से स्त्रियों की शिक्षा पर जो जोर दिया यह उनकी सोच अनेक दूरगामी परिणाम है उन्होंने उस समय स्त्री की शिक्षा पर जोर दिया जब समाज में स्त्री की शिक्षा को पाप माना जाता था .
Q . 38 लेखक की द्रष्टि में सभ्यता ‘’ और संस्कृति की सही समझ अब तक क्यों नहीं बन पाई है ?
Ans ‘- लोक सभ्यता और संक्रतिक के बारे में बहुत बाते करते है लेकिन कोई भी इसका अर्थ नहीं जानते है और इनका अलग अलग अर्थ निकालते है यही कारण है की सभ्यताक और संस्कृतिक शब्दों की सही समझ अभी तक नहीं आई है .
Q . 39 आग की खोज बहुत बड़ी सफलता क्यों मानी जाती है ?
Ans ;- आग की खोज प्रारंभिक काल की सबसे बड़ी सफलता है जब रात में अँधेरा होता है उस समय जानवरों का बड़ा खतरा रहता है प्रकाश नहीं था भूख मिटाने के साधन बहुत ही कम थे सायद उस समय के मानव कच्चा मॉस ही खाते थे आग की खोज से अँधेरा धुर हुआ और खाना बनाने के लिए आग की व्यवस्था हुई
Q . 40 वास्तविक रूप में सस्कृत व्यक्ति किसे कहा गया है ?
Ans ;- अपने विवेक दुवारा जो व्यक्ति किसी नए तथ्य के दर्शन करता है नयी खोज करता है वाही वास्तविक अर्थो में संस्कृत व्यक्ति है वह व्यक्ति किसी न किसी प्रकार के आविष्कार को करता रहता है उसकी संतान को बिना किसी कार्य के उसे सब मिल जाता है किन्तु संस्कृत यही है वास्तविक संस्कृत तो आविष्कार करने वाला ही होता है
Q . 41 .किन आवश्यकता के लिए सुई धागे का अविष्कार किया गया ?
Ans ;- प्राचीन काल में मनुष्य निर्वस्त्र रहता था उस समय तन ढकने का कोई साधन नहीं था इस लिए गर्मी सर्दी से बचने के लिए कपडे का अविष्कार किया गया और उससे सुई धागे का विकास हुआ .
पूरक पाठ्य पुस्तक ; कृतिका भाग - 2
Q . 42 .आपके विचार से भोलेनाथ अपने साथियो को देखकर सिसकना क्यों भूल जाता है ?
Ans ;- अगर देखे तो खेलने में सभी बच्चो की रूचि होती है यदि उसे अपनी उर्म के बच्चे मिल जाये तो और वह सब कुछ भूल कर खेल में लग जाता है यही कारन है की भोलानाथ अपने पिता की गोद में सिसक रहा था और जब वह अपने साथी बच्चो को खेलते देखता है तो उसका मन खेलने में लग जाता है
Q . 43 भोलानाथ और उसके साथियों की खेल सामग्री आपके खेल सामग्री से किस प्रकार भिन्न है ?
Ans ;- जैसे - जैसे समय बदलता है वैसे - वैसे खेल का स्वरूप भी बदल जाता है जो खेल की सामग्री उस समय थी अब उसके विपरीत हो गई है भोलेनाथ और उसके साथी कबड्डी , पेड़ो पर , खेत में , वर्षों में , मिटटी से , पानी से , कनस्तर से , घ के समान से खेलते थे . आज वर्तमान में मोबाइल , टीवी , वीडयो गेम से खेलते है
Q , 44 . माता का आँचल , शीर्षक की उपयुक्त बताते हुए कोई अन्य शीर्षक सुझाइए .
Ans ;- इस पाठ का शीर्षक माता का आचल शीर्षक उपयुक्त है यह शीर्षक छोटा है विषय का संकेत देता है शीर्षक के अनुसार ही पाठ की योजना बने गई है .
Q .45 बच्चे माता - पिता के प्रति अपने प्रेम को कैसे अभिव्यक्त करते है ?
Ans ;- बच्चो का माता - पिता के प्रति होने बाले प्रेम विविध प्रकार से अभिव्यक्त होता है बच्चे माता - पिता के साथ बात करके , इनके गालो को चूमकर , उनके साथ खेलकर , कहानी सुनाकर , , मीठे स्वर में गीत गाकर तथा तोतली भाषा में करके माता - पिता के प्रति होने वाले अपने प्रेम को व्यक्त करते है बच्चे माता - पिता पर अपना अधिकार मानते है इसलिए वे अपनी हर मांग उन्ही से करते है
Q . 46 और देखते ही देखते नयी दिल्ली की काया पलट हो गया - स्पस्ट करो ?
Ans ;- नई दिल्ली में अनेक प्रकार से कार्य प्रारंभ हुए है जिसमे सफाई , मरम्मत , रंगाई , पुताई आदि के साथ साथ यातायात , प्रकाश , वृक्षारोपण आदि पर ध्यान दिया गया होगा . हो सकता है की यहाँ पर वाहर से कुछ अतिथि आये होगे जिन्हें साफ सफाई बहुत पसंद है इस कारण हो सकता है की सफाई की गई होगी सरकारी भवनों इमारतो को भी पोता गया होगा . सायद इस कारण दिल्ली की काया पलट हो गई होगी .
Q . 47 जार्ज पंचाल की लाट की नाक को पुन ; लगाने के लिए मूर्तिकार ने क्या -क्या किया ?
Ans ;- जार्ज पंचाल की लात की नाक लगाने के लिए मूर्तिकार ने विभिन्न प्रयत्न किये सरकारी आधिकारिक की चिंता समझते हुए उसने सबसे पहले नाक बाला पत्थर खोजने की कोशिश की . उसमे असफल होने पर भी किसी अन्य मूर्ति से नाक निकालकर लगाने की कोशिश की इसमें भी वह सफल नहीं हुआ तो उसने जीवित आम व्यक्ति की नाक काटकर लगा दी और यह बात अखबारों में भी छाप दी थी
Q . 48 अखबारों ने नाक लगाने की खबर को किस तरह से प्रस्तुत किया ?
Ans ;- अक्ग्बारो में यह खबर छपी के नाक आम इन्सान की काटकर उस पुतले में लगा दी और यह खबर छपाई गई के जार्ज पंचाल को जिन्दा व्यक्ति की नाक लगा दी इस पर उनुन्होने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी उन्होंने यह नहीं लिखा था के जिन्दा व्यक्ति की नाक काटना अपराद है
Q . 49 जार्ज पंचम की नाक लगने वाली खवर के दिन अख़बार चुप क्यों पढ़ गए थे ?
Ans ;- जार्ज पंचाल की नाक लगने वाली खबर के दिन अखबार इसलिए चुप थे उनको जिन्दा आदमी की नाक जार्ज पंचाल की मूर्ति पर लगाना अच्छा नहीं समझा उन्होंने इसे भारतीय जनता के अपमान के रूप में लिया .
Q . 50 लेखक के अनुसार प्रत्यक्ष अनुभव की अपेक्षा अनुभूति उनके लेखक में कही अधिक मदद करती है क्यों .
Ans ;- प्रत्यक्ष अनुभवों को घटित होते देखा जाता है यह अनुभव , स्म्बेदना तथा कल्पना के सहयोग से उस घटना को याद कर लेता है इस प्रकार अगर आपके सामने कोई घटना नहीं घटी फिर भी वो इस प्रकार उसे पेस करते है की वह घटना उनकी आँखों के सामने ही घटी है इस प्रकार अनुभव की अपेक्षा अनुभूति लेखन में अधिक सहयोगी होती है .
Q . 51 लेखक ने अपने आपको हिरोशिमा के विस्पोटक का भोक्ता कब और किस तरह महसूस किया .?
Ans अखबारों की खबरों से लेखक को हिरोशिमा की घटना की खबर तो मिल गई थी वे स्वंय जापान गए थे वंहा जाकर उन्होंने अस्पतालों में सभी की खबर ली . लेकिन फिर भी वे उस घटना को समझ नहीं पाए लेकिन जब बहा एक पत्तर पर एक व्यक्ति को देखा तो पता लगा के ऐसे विस्फोट में ऐसी हालत होती है वहा पर कोई व्यक्ति नहीं था सिर्फ उसकी छाया अंकित की गई थी उस समय उन्हें बम की बिस्फोट का पता चलता है .
Q . 52 क्या लेखक दबाब केबल लेखक से जुड़े रचनाकारो को ही प्रभावित करते है या अन्य क्षेत्र से जुड़े कलाकारों को भी प्रभावित करते है , कैसे ?
Ans ;- बहरी दबाद लेखक को ही नहीं अन्य लोगो को भी प्रभावित करती है कोई भी रचनाकार अपनी अनुभूति के आधार पर ही अपनी कला का प्रदर्शन करता है सभी के ऊपर बाहरी दबाब भी होता है जिनका प्रभाव सभी पर पड़ता है कोई भी व्यक्ति हो चाहे लेखक , निर्देशक , कलाकार कोई भी हो सभी के ऊपर दवाव होता है .
Q . 53 हिरोशिमा की घटना विज्ञान की भयंकर दुरूपयोग है आपकी द्रष्टि से विज्ञान का दुरूपयोग कहा तक हो रहा है ?
Ans ;- विज्ञान ने मानव को अनेक सुख सुविधा दी है और सभी का जीवन सरल बनाया है लेकिन बहुत ही दुखद बात है की आज विज्ञान का बहुत ही दुरूपयोग हो रहा है आज आतंकबाद इसी का नतीजा है और अक्सर देखा जाता है की शक्तिशाली देश छोटे देश को दवाकर रखते है मानव अंग की तस्करी , भुण्ड हत्या सभी प्रकार से विबाद चल रहा है .
FCQ ,
Q . क्या mp बोर्ड कक्षा 10 वी माडल प्रश्न उत्तर में जो प्रश्न पुच्छे जाते है वो परीक्षा में आते है ?
उत्तर ;- हां माडल प्रश्न पत्र में से अकसर प्रश्न आते है और इसके साथ में अगर हम परीक्षा अध्धयन का उपयोग करते है तो बहुत ही उपयोगी रहेगा .
धन्यबाद
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